अगर आप सड़क पर बेपरवाह होकर चलते हैं तो जल्‍द ही इस आदत को बदल डालिये. अब सड़क पर ट्रैफिक रूल तोड़ना मंहगा पड़ सकता है. सरकार जल्‍द ही मोटर व्‍हीकल एक्‍ट में कई बड़े बदलाव करने जा रही है जिसमें पहले से ज्‍यादा कठोर सजा के प्रावधान होंगे.

शीतकालीन सत्र में आयेगा ड्रॉफ्ट
केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने सोमवार को कहा कि इस नये ड्रॉफ्ट को शीतकालीन सत्र में ससंद के पटल पर रखा जायेगा. गडकरी ने कहा कि देश में तेजी से बढ़ रहे ट्रैफिक को देखते हुये मोटर व्हीकल एक्ट 1988 में बदलाव की जरूरत है और इसी के मद्देनजर इस नये ड्रॉफ्ट में कई बड़े बदलाव किये गये हैं. नये कानून में ट्रैफिक नियम तोड़ने वालों के लिये कठोर सजा का प्रावधान होगा. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि प्रस्तावित अधिनियम का मसौदा पहले ही अंतिम चरण में पहुंच चुका है, जिसमें अमरीका, कनाडा, सिंगापुर, जापान, जर्मनी और ब्रिटेन सरीखे विकसित देशों में अपनाये जा रहे तरीकों की खास बातें होंगी.
हाई-वे पर मरते हैं 63 फीसदी लोग
गडकरी ने ट्रैफिक की अव्यवस्थाओं पर अफसोस जताते हुये कहा कि हर साल रोड एक्सीडेंट में 1.38 लाख लोगों की मौत हो जाती है, जिसकी कुल सामाजिक लागत 1 लाख करोड़ रुपये बैठती है. यही नहीं रोड एक्सीडेंट के चलते होने वाली 63 परसेंट मौंते नेशनल हाई-वे पर होती हैं. उन्होंने कहा कि सड़क सुरक्षा के अलावा वाहनों की बढ़ती संख्या भी बड़ी समस्या बनता जा रहा है. वहीं दूसरी ओर सड़क यातायात के नियमों के उल्लंघन के मामले बढ़ते जा रहे हैं.
कारगर इंजीनियरिंग का अभाव
मंत्री ने कहा कि कारगर सड़क इंजीनियरिंग के अभाव में दोषपूर्ण डीपीआर तैयार की गई, जिसके चलते सड़क एक्सीडेंट में होने वाली मौतों की संख्या बढ़ती जा रही है. उन्होंने सही अर्थों में अपेक्षित परिणाम हासिल करने के लिये नियमों पर अमल करने एवं जागरुकता बढ़ाने पर भी बल दिया. गडकरी ने सड़क यातायात प्रबंधन की क्षमता बढ़ाने की दिशा में सड़क यातायात शिक्षा संस्थान द्वारा निभाई गई अहम भूमिका की सराहना की.

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Posted By: Abhishek Kumar Tiwari