परखी अपनी काबिलियत
स्टूडेंट्स ने दिखाई मेधा, सैकड़ों की संख्या में जुटे प्रतिभागी
आईआईटी एग्जाम में सेंटर पर उत्साह से लबरेज दिखे स्टूडेंट्स ALLAHABAD: खुद को परखने के लिए प्लेटफार्म मिला तो बच्चों ने कोई कसर नहीं छोड़ी। क्या वो भविष्य में किसी बड़े कंपीटीशन को बीट कर सकते है? उनका कांफिडेंस लेवल कैसा है? बच्चों के पास करेंट में जो नॉलेज है, क्या उसके सहारे भविष्य की दिशा तय की जा सकती है? इस तरह के कई सवालों से पार पाने के लिए बड़ी संख्या में स्टूडेंट्स रविवार को रानी रेवती देवी सरस्वती विद्या निकेतन इंटर कालेज में आयोजित इंडियन इंटेलीजेंस टेस्ट का हिस्सा बने। करियर संवारने की फिक्रदैनिक जागरण- आईनेक्स्ट की ओर से आयोजित टेस्ट में शामिल बच्चों के अंदर करियर संवारने की फ्रिक साफ दिखी। उनका उत्साह भी सातवें आसमान पर था। इस मेगा इवेंट को लेकर स्टूडेंट्स के पैरेंट्स भी पूरे उत्साह से लबरेज दिखे। बच्चों के भविष्य की चिंता के साथ ही ऐसे आयोजन के प्रति पैरेंट्स भी काफी संजीदा दिखे। स्कूलों के बाहर अपने बच्चों के इंतजार में खड़े पैरेंट्स पर भीषण गर्मी का भी कोई असर नहीं दिखा। उनका तर्क था कि बच्चे इसके जरिए अपना एनालिसिस कर सकते है। ये चीजें आगे भी काम आएंगी।
खूब लगाया दिमागआईआईटी में क्लास फिफ्थ से ट्वेल्थ तक के स्टूडेंट्स को शामिल होना था। पेपर भी इसी ढंग से तैयार कराया गया था कि स्टूडेंट्स के आई क्यू लेवल के साथ उसके इंट्रेस्ट के पार्टिकुलर सब्जेक्ट को भी परखा जा सके। इसमें माइनस मार्किंग भी रखी गई थी। इसके चलते स्टूडेंट्स ने इंट्रेस्टिंग सवालों को हल करने में खूब दिमाग का इस्तमाल किया। टेस्ट के दौरान स्टूडेंट्स कई प्रश्नों को सॉल्व करते समय अपनी ओर से पूरी सावधानी बरतते दिखाई दिए।
आंकलन से बढ़ा हौसला बातचीत के दौरान बच्चों ने बताया कि उन्होंने आज के पहले कभी भी ओएमआर शीट का यूज नहीं किया था। इसके साथ ही आईक्यू लेवल के प्रश्नों की भी बच्चों ने खूब तरीफ की। उनका तर्क था कि इस टेस्ट में शामिल होने के बाद खुद का आंकलन करने में आसानी होगी। उन्हें एहसास हुआ कि आगे की तैयारी किस पैटर्न पर की जा सकती है। यह एक बड़ी आपाच्र्युनिटी है। दैनिक जागरण आईनेक्स्ट ने हमको ऐसा प्लेटफार्म दिया है जिसके जरिए स्टूडेंट्स अपनी योग्यता को परख सकता है। मैने भी यही सोच कर इस एग्जाम में पार्टिसिपेट किया है। उम्मीद है कि करियर के सलेक्शन को लेकर मेरी जिज्ञासा खत्म हो जाएगी। स्मितीआई वांट टू चेक माई एबिलीटी। यहीं कारण है कि आईआईटी में पार्टिसिपेट किया है। एग्जाम पेपर भी मेरे इस कांसेप्ट को सपोर्ट कर रहा है। क्वैश्चन देखकर लग रहा है कि मेरा रूझान किस ओर है। फिलहाल एग्जाम देने में बहुत मजा आया। अब तो बस रिजल्ट का इंतजार है।
देवांस आईआईटी का पेपर काफी अच्छा आया है। सॉल्व करने के दौरान प्रत्येक क्वैश्चन ने उलझाया। लेकिन हल भी जल्दी हो गए। जिस दिन से फार्म भरा था तभी से एग्जाम की तैयारी कर रही थी। पैरेंट्स ने भी मेरी काफी हेल्प की। जिस तरह से पेपर हुआ है उससे अच्छे नंबर आने की उम्मीद है। उदित अपनी नॉलेज इंक्रीज करने के लिए आईआईटी में पार्टिसिपेट कर रही हूं। मेरा अपने पसंदीदा सब्जेक्ट में इंट्रेस्ट है और इसे परखने के लिए एग्जाम दिया है। क्वेश्चन हमारी नॉलेज के हिसाब से थोड़े हाई लेवल के थे। अमरेश एग्जाम में कुछ क्वैश्चन तो काफी सरल थे। लेकिन कई ऐसे क्वैश्चन भी थे। जिसने टेंशन दिये। इनको सॉल्व करने के लिए काफी मेहनत करनी पड़ी। लेकिन फाइनली सब ठीक रहा। अरूणपहली बार ऐसे किसी एग्जाम में शामिल हुआ। पहले तो काफी डर लग रहा था। डर के कारण शुरू में क्वैश्चन भी समझ में नहीं आ रहे थे। लेकिन थोड़ी देर बाद सब ठीक हो गया। अपनी तरफ से तो सही क्वैश्चन सॉल्व किए। अब रिजल्ट का वेट करना है।
अनुभव ये सोच कर एग्जाम में पार्टिसिपेट किया कि सबसे अच्छे मॉर्क्स लाने है। आईआईटी को लेकर काफी तैयारी भी की थी। जिसके अच्छे परिणाम आए है। कुछ क्वेश्चंस काफी कठिन है। अर्जुन कई प्रश्न ऐसे थे, जिनके आंसर को लेकर कंफ्यूजन था। पता चला कि माइनस मार्किंग भी है तो सावधानी बरतनी पड़ी। इसमें कोई शक नहीं कि एग्जाम देने में काफी मजा आया। ओएमआर शीट भरना और नए ट्रेंड के क्वेश्चन सॉल्व करना नया एक्सपीरियंस दे गया। निखिल आजकल के स्टूडेंट्स अपने करियर को लेकर काफी चूजी हो चुके है। उन्हें अपने इंट्रेस्ट के हिसाब से ही सब्जेक्ट का सलेक्शन करना चाहिए। आईआईटी इसमें काफी हेल्प फुल साबित होगा। पेपर देखने के बाद मुझे भी इस बात का अहसास हुआ। रितू एग्जाम में शामिल होने से पहले थोड़ा डर लग रहा था। लेकिन जब पेपर मिला तो डर खत्म हो गया और कांफिडेंस लेवल डेवलप हुआ। शानवी