कानपुर के रियल एस्टेट कारोबारी मनीष गुप्ता मर्डर कांड की जांच में सीबीआई टीम ने शनिवार को होटल कृष्णा पैलेस में छानबीन की. होटल से कुछ कागजात लेने के बाद टीम ने कर्मचारियों से पूछताछ की.


गोरखपुर (ब्यूरो)। जानकारी लेने के बाद रामगढ़ताल थाना पहुंचकर टीम ने जानकारी ली। वहां से कुछ फाइलों को समेटकर सर्किट हाउस के एनेक्सी भवन में संबंधित पुलिस कर्मचारियों का बयान दर्ज किया। घंटों चली पूछताछ में क्या जानकारी सीबीआई ने ली। यह बात लीक न होने पाए। इस संबंध में काफी गोपनीयता बरती गई। होटल में 20 मिनट रही पुलिस, कर्मचारियों से ली जानकारी


शनिवार सुबह करीब साढ़े 11 बजे सीबीआई टीम सर्किट हाउस से निकलकर होटल कृष्णा पैलेस पहुंची। करीब 20 मिनट तक सीबीआई ने होटल कर्मचारियों से घटना की जानकारी ली। मनीष के साथ क्या, कैसे और कब हुआ। इन सभी सवालों का जवाब तलाशने के साथ-साथ करीब 20 मिनट तक सीबीआई ने दस्तावेज भी खंगाला। होटल के रूम नंबर 512 को पुलिस ने सील करके दो कांस्टेबल की तैनाती कर दी है। कमरे में सबूतों के साथ कोई छेड़छाड़ न हो। इसलिए उसकी सुरक्षा की जा रही है। आवश्यकता पडऩे पर सीबीआई कमरे में छानबीन कर सकती है। इस तरह से हुई छानबीन - होटल से लौटकर सीबीआई ने रामगढ़ताल थाना के कंप्यूटर ऑपरेटर दीपक कुमार सिंह को बुलाया।

- 27 अक्टूबर, घटना की रात से लेकर अगले दिन तक क्या-क्या कार्रवाई हुई। इसके बारे में पूछताछ हुई। - दीपक के साथ-साथ दो अन्य पुलिस कर्मचारी भी पूछताछ के लिए तलब किए गए थे। शाम करीब साढ़े सात बजे तक पूछताछ होती रही। - घटना के बाद तत्कालीन एसएचओ जगत नारायण सिंह ने ऑपरेटर से बोलकर जीडी लिखवाई थी। - मनीष गुप्ता की पत्नी मीनाक्षी की तहरीर पर एफआईआर भी उसी ऑपरेटर ने दर्ज किया था। - थाने से रवाना होते हुए असलहा जमा कराने और जीडी इंट्री करने वाले मुंशी और दीवान ने जानकारी दी थी। - रविवार को मनीष गुप्ता के गोरखपुर में रहने वाले दोस्तों को पूछताछ के लिए बुलाया गया है। तीनों से अलग-अलग बयान लेकर सीबीआई घटना की तह तक पहुंचने की कोशिश करेगी। तिहाड़ जेल भेजे जाएंगे आरोपित पुलिस कर्मचारी!

27 अक्टूबर की रात रामगढ़ताल एरिया के होटल कृष्णा पैलेस में कानपुर के कारोबारी मनीष गुप्ता को पुलिस कर्मचारियों ने पीटकर मार डाला था। इस मामले में तत्कालीन एसएचओ जेएन सिंह सहित छह पुलिस कर्मचारी जेल में हैं। प्रकरण की जांच पूर्व में एसआईटी कर रही थी। लेकिन अब केस सीबीआई के हाथ में चला गया है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर इस केस का ट्रायल दिल्ली में चलेगा। इसलिए कहा जा रहा है कि जेल में बंद आरोपित पुलिस कर्मचारी जल्द ही दिल्ली की तिहाड़ जेल शिफ्ट कर दिए जाएंगे। इस जानकारी से जेल में बंद पुलिस कर्मचारी काफी परेशान हो गए हैं। हालांकि, अभी इसमें वक्त लगेगा।

Posted By: Inextlive