- इस नये नियम से स्टूडेंट्स को होगा फायदा

- देश की सभी यूनिवर्सिटी को जारी हुए नये नियम

- यूजीसी ने संबंधित जानकारी वेबसाइट पर डाली

LUCKNOW: देश की सभी यूनिवर्सिटीज से अब बीजेएमसी की डिग्री नहीं दी जाएगी। इसके स्थान पर बीए (जर्नलिज्म एवं मास कम्यूनिकेशन) या बीजे (बेचलर ऑफ जर्नलिज्म) की डिग्री दी जाएगी। यूनिवर्सिटी अनुदान आयोग (यूजीसी) ने देश में संचालित सभी यूनिवर्सिटी के डिग्री को लेकर एक नियमावली जारी की है। जिसमें उसने देश में संचालित जनरल, मेडिकल और टेक्निकल एजुकेशन की संचालित क्ख्9 कोर्सेस के नामों और और उनसे जुड़े नियमों की जानकारी जारी कर दी है। अब सभी डिग्रियां यूजीसी की ओर से जारी किए गए नए नामों के आधार पर दी जाएगी। यूजीसी ने इस बार अपने भ्ख् डिग्रियों के नाम में पुनर्गठन के निर्देश दिए हैं। यूनिवर्सिटी अपने स्तर पर नए नाम से डिग्री शुरू भी नहीं कर सकेंगे। इस सम्बद्ध में सारी जानकारी यूजीसी ने अपनी वेबसाइट पर अपडेट कर दी है।

नए नियम से होगा स्टूडेंट्स को फायदा

अभी तक बीजेएमसी करने केबाद भी स्टूडेंट्स को दो वर्ष तक एमजेएमसी की पढ़ाई करनी पड़ती थी। अब नए नियम के अनुसार स्टूडेंट्स को बीजे करने के बाद एमजे एक वर्ष का कोर्स करना होगा। अगर स्टूडेंट्स इंटरमीडिएट के बाद तीन साल का जर्नलिज्म का कोर्स पढ़ता है या फिर बीए जर्नलिज्म व बीए का कोर्स करता है तो उसे एमए जर्नलिज्म की डिग्री दी जाएगी। यूजीसी ने अपने ऑर्डर में साफतौर पर कहा है कि ऐसा करने से कोर्सेस को सामान्य रूप से पहचाना जा सके। यूजीसी ने कहा कि अगर कोई डबल डिग्री प्रोग्राम है तो फ‌र्स्ट डिग्री और लास्ट डिग्री, दोनों का नाम स्पष्ट करना होगा। वहीं एक साथ चलने वाले दो कोर्सेस की अवधि दो डिग्रियों की कुल अवधि से कम की जा सकेगी।

छह मंथ पहले बताना होगा

यूजीसी की ओर से गई सूची के अलावा यूनिवर्सिटी अपने स्तर पर नए नाम से डिग्री नहीं दे सकेगा। अब कोर्सेस शुरू करने के छह मंथ पहले सूचित करना होगा। कोर्स का विवरण, अध्ययन बोर्ड, एकेडमिक काउंसिल और एग्जीक्यूटिव काउंसिल की रिपोर्ट भी प्रस्तुत करनी होगी। यूजीसी ने इस संबंध में डिग्री का अल्प नाम, विस्तारित नाम, स्तर, न्यूनतम अवधि और एडमिशन की पूरी डिटेल स्पष्ट करनी होगी।

Posted By: Inextlive