न्याय पर आंच क्योंकि अटकी है हजारों जांच
- मुकदमों की जांच में बेहद धीमी है वाराणसी पुलिस
- थानों से पूरी हुई विवेचनाएं क्षेत्राधिकारी कार्यालयों में रुकीं कानून-व्यवस्था बहाली के साथ ही न्याय व्यवस्था का एक महत्वपूर्ण अंग पुलिस है। मुकदमे दर्ज करने के बाद पुलिस का ही काम है उनकी निष्पक्ष जांच करना और चार्जशीट कोर्ट भेजना जिसके आधार पर अदालत फैसले सुनाती है। मगर जनपद में 25 थानों में न्याय मिलने की प्रक्रिया काफी धीमी चल रही है क्योंकि लगभग 1800 जांचें अभी थाना और सीओ कार्यालय स्तर पर ही रुकी हुई हैं। हालांकि एसएसपी समेत अन्य आला अफसर इसे लेकर बेहद गंभीर हैं। गंभीर मामलों में 90 दिन की मियादहत्या और महिला अपराध जैसे गंभीर मामलों में नए संशोधन के बाद प्रक्रिया में कुछ बदलाव किए गए। ऐसे मामलों में अब 90 दिन के भीतर जांच कर पुलिस को चार्जशीट फाइल कर देनी होती है। सामान्य मामलों में भी 180 दिन यानी छह महीने के भीतर विवेचना कर चार्जशीट अदालत भेज देनी होती है। मगर पिछले छह महीने के आंकड़ों पर गौर करें तो तमाम थानों में हजारों विवेचनाएं लंबित पड़ी हैं।
लंका और कैंट में सबसे ज्यादापुलिस विभाग के आंकड़ों पर गौर करें तो विवेचनाओं के मामले में सबसे फिसड्डी थाने लंका और कैंट हैं। कैंट में कुल 250 तो लंका में 220 मामलों की जांच अटकी हुई है। अन्य 23 थानों में भी शिकायतों के हिसाब से चौबेपुर, सिगरा, मंडुवाडीह आदि थाने भी अव्वल हैं। इसी तरह क्षेत्राधिकारियों के यहां भी 85 विवेचनाएं लंबित हैं। इनमें अकेले सीओ कैंट के कार्यालय में 45 विवेचनाएं रुकी हैं।
यह होती है प्रक्रिया कोई भी मुकदमा दर्ज होने के साथ ही उसे एक विवेचक को सौंप दिया जाता है। विवेचक का काम है विवेचना में पीडि़त पक्ष का बयान दर्ज करना, आरोपियों की गिरफ्तारी और माल की बरामदगी करना, जांच में किसी प्रकार की धोखाधड़ी का मामला सामने आए तो उसका भी जिक्र करना। इसके बाद चार्जशीट थाना प्रभारी से होते हुए सीओ कार्यालय पहुंचती है। सीओ की हरी झंडी मिलने पर इसे कोर्ट प्रेषित किया जाता है। यहां अटकी हैं जांचें कैंट - 250 लंका - 220 चौबेपुर - 98 सिगरा - 90 बड़ागांव - 85 शिवपुर - 88 रोहनिया - 85 फूलपुर - 80 भेलूपुर - 70 मिर्जामुराद - 70 सारनाथ - 65 जैतपुरा - 60 रामनगर - 55 चेतगंज - 50 मंडुवाडीह - 50 लोहता - 45 चोलापुर - 40 चौक - 40 कपसेठी - 35 आदमपुर - 35 लक्सा - 34 दशाश्वमेध - 30 जंसा - 25कोतवाली - 23
महिला थाना - 17 सीओ कैंट - 45 सीओ पिंडरा - 15 सीओ भेलूपुर - 10 सीओ बड़ागांव - 7 सीओ सदर - 5 सीओ चेतगंज - 5 बयान विवेचनाओं को समयबद्ध और सही तरीके से करने के लिए निर्देश दिए गए हैं। इन्हें बेवजह अटकाने वालों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी। आनंद कुलकर्णी, एसएसपी वाराणसी