- जम्मू एयरबेस में अटैक के बाद से जारी किया अलर्ट

- शादी समारोहों में ड्रोन से नहीं हो सकेगी फोटोग्राफी

kanpur : जम्मू में एयरफोर्स स्टेशन पर ड्रोन से हुए आतंकी हमले के बाद कानपुर में भी अलर्ट जारी कर दिया गया है। शहर के जिन इलाकों में रक्षा प्रतिष्ठान हैं, वहां ड्रोन उड़ाने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। रक्षा विभाग की ओर जारी निर्देश में यूपी के जिन शहरों में ड्रोन उड़ाने को लेकर दिशा निर्देश जारी किए गए हैं उनमें कानपुर का भी नाम है। इसके बाद बाबूपुरवा, कैंट, चकेरी, पनकी और महाराजपुर में ड्रोन से फोटोग्राफी पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। इन इलाकों में शादी व अन्य कार्यक्रमों में भी ड्रोन से फोटोग्राफी नहीं की जा सकेगी। इस संबंध में पुलिस कमिश्नर ने गेस्ट हाउस व होटल संचालकों को भी निर्देश जारी कर दिए है। स्पष्ट आदेश हैं कि अगले आदेश तक फोटोग्राफी के लिए ड्रोन का इस्तेमाल न किया जाए। इस आदेश को न मानने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी।

शादी समारोहों में यूज होता है ड्रोन

शहर के रक्षा प्रतिष्ठानों में चकेरी में डीएमएसआरडीई, एचएएल, बाबू पुरवा में सीओडी, कैंट में पैराशूट फैक्ट्री, आर्डिनेंस इक्विपमेंट फैक्ट्री, पनकी में एसएएफ, फील्ड गन फैक्ट्री हैं। इसके अलावा चकेरी एयरपोर्ट, सिविल एयरोड्रम, एयर फोर्स स्टेशन, इंडियन ऑयल डिपो भी अतिमहत्वपूर्ण प्रतिष्ठान हैं। वहीं महाराजपुर में आईटीबीपी की बटालियन भी है। इन इलाकों में तमाम गेस्ट हाउस, मैरिज लॉन, होटल और धर्मशाले हैं। इन गेस्ट हाउसों में शादी समारोहों के दौरान ड्रोन से फोटोग्राफी की जाती है। फोटोग्राफी करने वाले इवेंट मैनेजर्स को पुलिस प्रशासन ने ड्रोन से फोटोग्राफी के लिए स्पष्ट मना कर दिया है। साथ ही रक्षा प्रतिष्ठानों की सिक्यूरिटी भी बढ़ाने के लिए इन प्रतिष्ठानों के जिम्मेदार अधिकारियों को पत्र भेजा गया है। पुलिस अधिकारियों के मुताबिक संस्थानों के बाहर की जिम्मेदारी थाना पुलिस की होगी और अंदर की सिक्यूरिटी संस्थान करेंगे।

रडार को चकमा दे रहे ड्रोन

विशेषज्ञों के मुताबिक घुसपैठ करने वाले ड्रोन रडार को चकमा देने वाली तकनीक का इस्तेमाल कर रहे हैं। इसमें सबसे पहला है कि ड्रोन को अधिक ऊंचाई पर उड़ाया नहीं जा रहा है। उसका आकार बेहद छोटा रहता है। स्टेल्थ तकनीक का इस्तेमाल हो रहा है, जो कि उसके मैटेरियल और डिजाइन पर निर्भर करता है। दुश्मन देश अपने ड्रोन में पहले से ही से¨टग करके रखते हैं। उनमें पकड़े जाने के डर और अंतरराष्ट्रीय समूहों के सामने भेद खुलने के डर से उसे उड़ा देते हैं। यह ऑटोमेटिक काम करते है।

बॉक्स बनाए

कैसे पकड़ सकते हैं दुश्मन का ड्रोन

रडार को चकमा देने की स्थिति में ऑप्टिकल सेंसर और इमेज प्रोसे¨सग खूबियों वाले हाई रेजूल्यूश्न कैमरे की मदद से पकड़ा जा सकता है। यह 360 डिग्री तक घूम कर नजर रखते हैं। इन्हें ऊंचाई वाले पोल पर इंस्टॉल किया जाता है। इसका सिस्टम मशीन लर्निंग और एल्गोरिथम आधारित होता है। जिसमें आसमान में हल्का सा बदलाव होने पर यह अलर्ट दे देंगे। विशेषज्ञ इस पर काम करने की योजना बना रहे हैं। यह अपने आप में अलग तरह की तकनीक रहेगी। स्टेल्थ तकनीक के ड्रोन रोशनी को अपने अंदर अवशोषित कर लेता है, जिसकी वजह से यह नजर नहीं आता है।

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'' रक्षा मंत्रालय के निर्देश मिलने के बाद कानपुर कमिश्नरेट ने कुछ इलाकों में ड्रोन पर प्रतिबंध लगाया गया है। संबंधित थानेदारों को अलर्ट किया गया है.''

असीम अरुण, सीपी कानपुर

हाईलाइट्स

- शहर में आघा दर्जन रक्षा संस्थानों के अलावा एयरफोर्स स्टेशन भी है

- शहर में पांच दर्जन इवेंट एजेंसियां हैं। ज्यादातर के पास ड्रोन कैमरे है

- घुसपैठ करने वाले ड्रोन रडार को चकमा देने वाली टेक्निक यूज कर रहे

- ऑप्टिकल सेंसर, इमेज प्रोसे¨सग वाले हाई रेजूल्यूशन कैमरे से पकड़ सकते

- रक्षा संस्थानों के बाहर थाना पुलिस और अंदर की सिक्यूरिटी संस्थान करेंगे।