लखनऊ (ब्यूरो)। लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे को लेकर भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) ने काम तेज कर दिया है। सरोजनीनगर के पास कार्यदायी संस्था ने अपना कॉस्टिंग यार्ड बनाने का काम शुरू कर दिया है। आउटर रिंग रोड 18वें और 12वें किमी पर कनेक्ट होंगे। इसके अलावा यह एक्सप्रेसवे आउटर रिंग रोड के साढ़े पांच मीटर ऊपर से निकलेगा। 63 किमी बनने वाले इस एक्सप्रेसवे का काम जिस गति से शुरू होना चाहिए, वह अभी नहीं हो सका है। ऐसे में दिसंबर 2024 तक इसको बनाकर शुरू करना एनएचएआइ के लिए थोड़ा मुश्किल होगा। एक्सप्रेसवे का जो काम अक्टूबर 2022 में शुरू होना था, उसे रफ्तार अभी तक नहीं मिल सकी है।

उन्नाव से शुरू हुआ काम

सांसद प्रतिनिधि दिवाकर त्रिपाठी ने बताया कि आउटर रिंग रोड एक्सप्रेसवे का काम जल्द होगा, उसके लिए प्रकिया तेज कर दी गई हैं। वर्ष 2023 में रिंग रोड के काम को खत्म करने के साथ ही इसे आमजन के लिए शुरू कर दिया जाएगा। इसकी मॉनिटरिंग की जा रही है। उन्होंने बताया कि लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे का काम उन्नाव से शुरू किया जा चुका है। लखनऊ से सैनिक स्कूल के पास इसका काम शुरू होना है। इसके लिए काम शुरू हो गया है। प्लांट लगाने की तैयारी चल रही है। कार्यदायी संस्था ने एक्सप्रेसवे बनाने के लिए मशीनें मौके पर लानी शुरू कर दी हैं। बिजली विभाग द्वारा लाइन शिफ्टिंग व वन विभाग द्वारा पेड़ों को काटने के लिए प्रकिया शुरू होने जा रही है।

40 मिनट में सफर होगा पूरा

कानपुर व लखनऊ के बीच की दूरी को आसानी से 35 से 40 मिनट में पूरा किया जा सकेगा। वर्तमान में यह सफर डेढ़ घंटे का है। सांसद प्रतिनिधि का कहना है कि लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे व उन्नाव जिले के कई बड़े कस्बों को जोडऩे का काम करेगा। यही नहीं, भविष्य को देखते हुए इसे आठ लेन के हिसाब से डिजाइन किया गया है। वर्तमान में छह लेने पर वाहनों का आवागमन होगा।