- स्टूडेंट्स में बढ़ती नशे की लत छुड़ाने को शुरू होगी मुहिम

- मॉनिटरिंग के लिए संस्थानों में तैयार की जाएंगी स्पेशल कमेटियां

- वर्कशॉप और ओरिएंटेशन प्रोग्राम के जरिए दी जाएगी जानकारियां

- विभिन्न समारोहों में भी नशे के प्रति किया जाएगा जागरूक

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DEHRADUN: संस्थानों में पैर पसार रहे ड्रग्स के कारोबार पर लगाम लगाने को अब शिक्षण संस्थान आगे आएंगे। यूजीसी ने संस्थानों को ड्रग्स के खिलाफ ठोस कदम उठाने के निर्देश दिए हैं। इसके लिए कॉलेज विभिन्न माध्यमों से स्टूडेंट्स को नशे के दुष्प्रभावों के प्रति जागरूक करने के साथ ही संस्थान में ऐसे पदार्थो के उपयोग को रोकने के लिए कमेटियां गठित करेंगे।

दर्जनों तस्करी के मामले आए सामने

प्रदेश के स्कूल कॉलेजों के अंदर और बाहर नशा लगातार पैर पसार रहा है। आलम यह है कि स्कूलों में बीते एक महीने में एक दर्जन से ज्यादा नशे की तस्करी के मामले सामने आ चुके है। यह तस्वीर अकेले देहरादून की नहीं बल्कि पूरे देश के शिक्षण संस्थानों की है। संस्थानों में नशे के बढ़ते मामलों को देखते हुए यूजीसी ने भी अब कमर कस ली है। आयोग ने संस्थानों को ड्रग्स के खिलाफ लड़ने के लिए एक ठोस मैकेनिज्म तैयार करने के निर्देश दिए हैं। इसके लिए संस्थान विभिन्न आयामों पर काम करेंगे।

हेल्थ मंत्रा देंगे संस्थान

बीते कुछ वक्त में युवा वर्ग नशे पर डिपेंड होने लगे हैं। स्टाइल, फैशन और तनाव आदि कई बहानों से नशे को गले लगा रहे हैं। लेकिन यही नशा किस प्रकार शरीर को नुकसान देता है इसकी जानकारी न होने के कारण युवा बीमारियों की चपेट में आ जाते हैं। स्टूडेंट्स को इन सब से रूबरू कराने के लिए संस्थान न सिर्फ एक्सप‌र्ट्स बल्कि मनोवैज्ञानिक और चिकित्सकों का भी सहयोग लेंगे। यह विशेषज्ञ विभिन्न वर्कशॉप और ओरिएंटेशन प्रोग्राम सहित अन्य गतिविधियों के जरिए स्टूडेंट्स को इसके खतरे बताएंगे।

वर्जन---

यूजीसी ने दीक्षांत समारोह, वार्षिकोत्सव सहित तमाम आयोजनों के दौरान अनिवार्य रूप से ड्रग्स और नशीले पदार्थो से होने वाले खतरों से स्टूडेंट्स को रूबरू कराने के निर्देश दिए हैं। इसके अलावा कई अन्य माध्यमों से भी ड्रग्स से लड़ने का काम किया जाएगा। संस्थानों में कमेटियां ड्रग्स के खिलाफ स्टूडेंट्स को जागरूक करेंगे।

----- प्रो। वीके जैन, वाइस चांसलर, दून यूनिवर्सिटी