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PATNA : सात समंदर पार अमेरिका के कनसास शहर में भारतीय इंजीनियर पर हुए हमले के बाद यूएसए में भारतीय समुदाय के लोगों के बीच डर और दहशत का माहौल है। हर कोई ट्रंप सरकार की नस्ल भेदीय नीतियों को लेकर चिंतित है। खौफ का आलम यह है कि लोग रात में घरों से बाहर निकलने से परहेज कर रहे हैं। वहां के हालात को जानने के लिए दैनिक जागरण आई नेक्स्ट ने अमेरिका में रहने वाले पटनाइट्स से बात की। वर्तमान के साथ-साथ आनेवाले भविष्य को लेकर कांपती आवाज में जो कुछ भी उन्होंने कहा उसे सुनकर आपके भी रोंगटे खड़े हो जाएंगे। पेश है ये रिपोर्ट
ट्रंप ने नस्लभेद को बढ़ावा दिया
पटना से पढ़ाई करने के बाद एक आईटी कंपनी के लिए अमेरिका के बॉस्टन शहर में काम करने वाले रोमित रंजन इस घटना से काफी चिंतित हैं। उन्होंने बताया कि ऐसा नहीं है कि अमेरिका के गोरे लोग पहले भेद नहीं करते थे, लेकिन ट्रंप के चुनावी कैंपेन के बाद ऐसी भावना को प्रोत्साहन मिला है। उनके मुताबिक हम सब पहले की तरह भयमुक्त महसूस नहीं कर रहे हैं। हालांकि रोमित का मानना है कि हालात अभी पैनिक करने वाला नहीं हुआ है। लेकिन भविष्य में अगर ध्यान नहीं दिया गया तो समस्या बढ़ सकती है।
अमेरिका के लिए चुनौती है गन
रोमित के मुताबिक अमेरिका के किसी भी शहर में आपसी मुठभेड़ की आशंका रहती है। वहां गन का लायसेंस इतनी आसानी से मिल जाता है कि कोई भी उसका उपयोग करने लगे। ऐसे में इंडियंस के लिए वहां पैदा हो रही नफरत की भावना काफी मुश्किलें पैदा करने वाली है। रेड स्टेट में समस्याएं ज्यादा है, लेकिन पूरे अमेरिका में रहने वाले इंडियंस के लिए सिचुएशन अलार्मिग है।
हर घटना के बाद आता है फोन
पटना के बाल्डविन स्कूल से पढ़े निखिल सिंह यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया में जॉब करते हैं। उन्होंने बताया, मैं जहां रहता हूं वहां की स्थिति उतनी खराब नहीं। लेकिन ट्रंप के आने के बाद सिचुएशन भी ठीक नहीं है। घर वाले हर घटना के बाद फोन करते हैं। उन्हें हर बार समझाना पड़ता है। वैसे भी पुराने ख्यालात के अमेरिकन गोरे लोगों में नस्लभेद वाली सोच है, नहीं तो अमेरिकन काफी सहयोगी भावना वाले लोग हैं।
हर वक्त रहती है खबरों पर नजर
रिटायर्ड इंजीनियर एमएन चौधरी के बेटे का पूरा परिवार अमेरिका में रहता है। उनके मुताबिक पटना में रहकर वे अमेरिका की खबरों पर नजर बनाए रखते हैं। जब से ट्रंप के हेट स्पीचेज के बारे में सुना है, चिंता बनी रहती है। हालांकि ज्यादा दिक्कत वहां गलत तरीके से रहने वालों के लिए होगी, लेकिन नस्लभेदी हवा अगर तेज चली तो सबके लिए मुश्किलें आएंगी।
Top Concentrations of Indian born people
City- people
New york- 3,15,000
Chicago- 1,17,000
San francisco- 86,000
Washington- 82,000
Los angeles- 80,000
Dallas- 71,000
Philadelphia- 65,000
Houston- 64,000
Atlanta- 51,000
Source- U.S। Census Bureau