--UP board के कारनामे से students की बढ़ी प्रॉब्लम

-ग्रीवांश सेल में रिजल्ट में गड़बड़ी गो लेकर पहले दिन पहुंचीं 70 complains

VARANASI: यूपी बोर्ड के कारनामे भी अजब गजब होते हैं। ऑनलाइन एग्जाम फॉर्म भरवाने से लेकर मार्कशीट तक सब कंप्यूटराइज होने के बाद भी गड़बडि़यां रुकने का नाम नहीं ले रही हैं। नये मामले में इकोनॉमिक्स का एग्जाम देने वाले के मार्कशीट पर सोशियोलॉजी लिखकर परीक्षार्थी को अब्सेंट कर दिया गया है। यह तो बस नमूना भर है गुरुवार को बोर्ड ऑफिस खुलते ही बोर्ड एग्जाम से जुड़ी कम्प्लेन की झड़ी लग गयी। पूरे दिन ग्रीवांश सेल में शिकायत करने वालों की भीड़ लगी रही।

ऑफिस वाले भी हैरत में

बोर्ड के रीजनल ऑफिस में दसवीं व क्ख्वीं के मार्कशीट में आयी गड़बड़ी को दूर करने के लिए अलग-अलग ग्रीवांश सेल गठित किया गया है। पहले दिन ग्रीवांश सेल में 70 कम्प्लेन्स पहुंचीं। स्टूडेंट्स ने ग्रीवांश सेल को दिए एप्लिकेशन में ऐसी गड़बडि़यों का जिक्र किया है, जिसे देखकर सेल में बैठे लोग भी हैरत में पड़ गए। कम्प्लेन लेकर पहुंची एक स्टूडेंट ने बताया कि उसने क्ख्वीं में इकोनॉमिक्स का एग्जाम दिया था और रिजल्ट में सोशियोलॉजी दर्ज कर अब्सेंट दिखा दिया गया है।

गड़बडि़यों का अंत नहीं

स्टूडेंट्स के रिजल्ट में केवल एक तरह की गड़बड़ी होती तो इसे एरर कहा जाता। लेकिन रिजल्ट में तरह तरह की गड़बड़ी मिल रही है। पिता व माता के नाम के साथ ही स्वयं का नाम गलत होने की कम्प्लेन एक दो नहीं बल्कि बहुत हैं। प्राइवेट एग्जाम देने वाले अधिकतर स्टूडेंट्स ने सीपी में रिजल्ट रोके जाने का कम्प्लेन किया है। डेट ऑफ बर्थ में गड़बड़ी की कम्प्लेन भी कम नहीं है। रीजनल बोर्ड ऑफिस से जुड़े ऑफिसर्स का कहना है कि स्कूल लेवल पर हुई लापरवाही का यह परिणाम है। बता दें कि यूपी बोर्ड ने क्भ् दिन के अंदर सभी कम्प्लेन्स के निस्तारण का निर्देश दिया है। उधर समय रहते रिजल्ट की गड़बडि़यां दूर नहीं हुई तो स्टूडेंट्स का नेक्स्ट क्लास में एडमिशन फंस सकता है।