कारगिल युद्ध में विजय को याद रखने के लिए देश हर 26 जुलाई को विजय दिवस के रूप में मनाती है. भारतीय जवानों की शहादत को याद करते हुए सेना प्रमुख विक्रम सिंह ने 15वें विजय दिवस पर अपनी श्रद्धांजली अर्पित की.


सक्षम है भारतीय सेना15वें विजय दिवस पर बोलते हुए सेना प्रमुख जनरल विक्रम सिंह ने कहा,'मैं सेना प्रमुख होने के नाते यह आश्वस्त करना चाहता हूं कि सीमा पर तैनात भारतीय जवान भारत की संप्रभुता और अखंडता की रक्षा करने में सक्षम हैं.' इसके साथ ही उन्होंने कहा कि सेना किसी भी स्तर की चुनौती हैंडल कर सकती है और मौजुदा सरकार जवानों की बेसिक जरूरतों और आकांक्षाओं को पूरा करने के प्रति कटिबद्ध है. कारगिल था सबसे बड़ा युद्ध


भारत और पाकिस्तान के बीच 1999 में कारगिल की बर्फ के बीच हुए युद्ध को कारगिल वार के रूप में याद किया जाता है. इस युद्ध में 527 सैनिकों की जान गई और लगभग 1363 सैनिक जख्मी हो गए लेकिन भारत ने इस युद्ध को पूरे सम्मान के साथ जीत लिया. यह युद्ध 3 मई को शुरू हुआ जब भेड़ चराने वालों ने पाकिस्तानी नागरिकों की कारगिल क्षेत्र में उपस्थिति की बात बताई. इसके बाद 26 जुलाई को भारतीय सेना ने अपनी सभी पाकिस्तान द्वारा कब्जा की गईं चोटियों पर फिर से कब्जा कर लिया. भारतीय सेना ने इसे ऑपरेशन विजय का नाम दिया था और 26 जुलाई को विजय दिवस के रूप में मनाती है. 31 जुलाई को हो रहे रिटायर

भारतीय सेना प्रमुख जनरल बिक्रम सिंह 31 जुलाई को सेवानिवृत्त हो रहे हैं. इससे पहले वह ईस्टर्न कमांड के हेड थे. जनरल बिक्रम सिंह को परम विशिष्ट सेवा चक्र, उत्तम युद्ध सेवा मेडल, अति विशिष्ट सेवा मेडल, सेना मेडल और विशिष्ट सेवा मेडल मिले हैं. गौरतलब है कि वह सिख कम्यूनिटी से आने करने वाले दूसरे आर्मी जनरल हैं. इससे पहले जनरल जे. जे. सिंह भी आर्मी चीफ बने थे जो एक सिख थे.

Posted By: Prabha Punj Mishra