काशी में जमीन घोटाले का एक बड़ा मामला. यह जुड़ा है निष्क्रांत संपत्तियों से. भूमाफिया ने होशियारी से जमीनें हथिया ली हैं जो बंटवारे के वक्त बनारस छोडक़र पाकिस्तान चले गए.


सिगरा का मामलाताजा मामले में बनारस के पॉश इलाके सिगरा में एक बड़े भूखंड की बिक्री हुई तो महकमे की नींद टूटी क्योंकि यह निष्क्रांत संपत्ति थी. ढूंढा जाने लगा कि ऐसी निष्क्रांत संपत्तियां कितनी और किस हालत में हैं. सूत्रों ने बताया कि करीब एक हजार ऐसी संपत्तियां थीं जो छद्म तरीके से खरीद व बेच दी गईं.मौके पर जमीन न फाइलें मौके पर न तो जमीन व न ही सरकारी पटल पर फाइलें. देखरेख करने वाले बाबू या फिर संबंधित प्रशासनिक अफसर को भी इसके बारे में कुछ भी पता नहीं है. ऐसी एक हजार संपत्तियों के बारे में प्रशासन को जानकारी तो है लेकिन 985 फाइलों के सारे रिकार्ड गायब हैं. सदर तहसील में निष्क्रांत संपत्ति रजिस्टर वर्ष 2008 में बना लेकिन संबंधित फाइलें कहां गुम हो गईं, कोई नहीं जानता. जिलाधिकारी प्रांजल यादव ने मामले की जांच की बात कही है.
Report by: Rakesh Chaturvedi (Dainik Jagran)

Posted By: Satyendra Kumar Singh