वाराणसी के त्रिपुर भैरवी मुहल्ले में अपने ढंग के इस अनूठे बैंक का नाम राम रमापति है और यहां रुपयों का नहीं बल्कि ‘राम नाम’ का कर्ज मिलता है.


अब तक आपने कई सारे अजब अनोखे बैंकों के बारे में  खूब सुना होगा मगर यह बैंक बिल्कुल ही अनोखा है. देश की रिलीजियस और कल्चरल कैपिटल उत्तर प्रदेश के वाराणसी में एक रामनामी बैंक है. यहां के त्रिपुर भैरवी मुहल्ले में अपने ढंग के इस अनूठे बैंक का नाम राम रमापति है और यहां रुपयों का नहीं बल्कि ‘राम नाम’ का कर्ज मिलता है. यह कोई नया नवेला बैंक नहीं है जो कि पब्लिसिटी स्टंट के लिये खोला गया हो बल्कि बैंक को खुले अब 84 साल हो गये हैं. बैंक मैनेजर रामकृष्ण के अनुसार इस समय बैंक में राम नाम की कुल कैपिटल 18 अरब 96 करोड़ 40 लाख और शिव नाम की सवा करोड़ है.


रामकृष्ण कहते हैं कि इंसान को अपनी लाइफ में कई जरुरतों को पूरा करने के लिए रुपयों का कर्ज लेना एवं उसे इंटरेस्ट के साथ चुकाना पड़ता है लेकिन इस बैंक से लोग अपनी प्राबलम्स को दूर करने के लिए ‘राम नाम’ या ‘शिव नाम’ का कर्ज लेते हैं एवं उसको पूरा करके भगवान के चरणों में अर्पित करते हैं.

बताया जाता है कि बैंक का कान्सेप्ट बाबा सत्तराम का था और 84 साल पहले वाराणसी में उन्होने ही इसकी स्थापना गरीबों दुखियों और अतिभक्त सज्जनों के उद्धार के लिये की थी.

Posted By: Divyanshu Bhard