-कैंट स्टेशन को मुंबई से जोड़ने वाली ट्रेनों में बढ़ी भीड़

-ट्रेनों से आ रहे पैसेंजर कोरोना को लेकर बेखबर, स्टेशन से होकर पहुंच रहे घर

- स्टेशन परिसर में नहीं दिखती सतर्कता, लोग जैसे मन चाहे आ-जा रहे हैं

- दूसरे राज्यों में मामले बढ़ने के बाद भी स्टेशन पर थर्मल स्कैनिंग और जांच की नहीं है व्यवस्था

-कैंट स्टेशन पर वाराणसी, जौनपुर, आजमगढ़, गाजीपुर, मऊ, चंदौली व बलिया के लोग उतर रहे हैं

03 स्पेशल ट्रेनों का कैंट स्टेशन से मुंबई के लिए संचालन हो रहा है

04 ट्रेन कैंट स्टेशन से से होकर संचालित हो रही हैं

01 से डेढ़ हजार लोग घर आ रहे हैं महाराष्ट्र से यहां पहुंच रही प्रत्येक ट्रेन से

05 से एक हजार तक पैसेंजर कैंट स्टेशन पर उतर रहे हैं पासिंग ट्रेन से भी

कोरोना का संक्रमण एक बार फिर पैर पसारने लगा है। महाराष्ट्र के कई शहरों में तो लॉकडाउन भी लग गया है। वहीं नई दिल्ली में भी रोजाना मामले बढ़ रहे हैं। ऐसे में इन शहरों से डरे-सहमे लोग वापस घरों को लौटने लगे हैं। हालांकि ट्रेन से वापस लौट रहे लोग कोरोना प्रोटोकॉल के किसी नियम का सही से पालन नहीं कर रहे हैं। किसी भी ट्रेन में पैसेंजर कोविड गाईडलाइन का पालन नहीं कर रहे हैं। पैसेंजर शारीरिक दूरी के नियमों की तो धज्जियां उड़ा ही रहे हैं, फेस पर मास्क लगाना भी भूल चुके हैं। संक्रमण काल में यात्रियों ने सावधानी बरती थी, लेकिन अब सब सामान्य सा दिखने लगा है। ये यह नहीं समझ रहे हैं कि ऐसा कर वे खुलेआम बीमारी को दावत दे रहे हैं। ऐसी लापरवाही केवल यात्रियों की ओर से ही नहीं, बल्कि कैंट रेलवे स्टेशन प्रबंधन और स्वास्थ्य विभाग की ओर से भी देखी जा रही है। स्टेशन पर जांच और संक्रमण से बचने का कोई इंतजाम नहीं है। अगर समय रहते प्रोटोकॉल को गंभीरता से नहीं लिया गया तो संक्रमण के फिर से फैलने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता।

ठसाठस होकर लौट रही ट्रेन

लॉकडाउन के दौरान जिस तरह से लोग मेट्रो सिटीज खासकर मुंबई से वापस लौट रहे थे। कमोवेश वैसी ही स्थिति एक बार फिर देखने को मिल रही है। मुंबई से वाराणसी आने वाली लगभग सभी ट्रेन पैसेंजर्स से ठसाठस लौट रही हैं। ऐसे में स्लीपर से लेकर जनरल कोच तक में नियम कानून की धज्जी उड़ रही है। सीट पर बैठने का नियम तार-तार हो गया है। एक एक सीट पर चार से पांच लोग बैठकर आ रहे हैं। जनरल का हाल तो और खराब है। पहले की तरह दरवाजे और आने जाने के रास्ते पर भी बैठकर यात्रा करते लोग दिख रहे हैं।

हवा हवाई है अलर्टनेस

यह कहना गलत नहीं होगा कि कैंट रेलवे स्टेशन पर कोरोना को लेकर अलर्टनेस एकदम भी नहीं है। कम से कम संक्रमित शहरों से आने वाले लोगों को लेकर बेपरवाही को इंकार नहीं किया जा सकता है। यहां गाईडलाइन की हवा निकल रही है। कैंपस में हैंडवॉश, थर्मल स्क्रीनिंग व सैनिटाइजर तो छोडि़ये शायद ही कोई अपने फेस पर मास्क लगाए दिख जाए। रविवार की दोपहर में कैंट रेलवे स्टेशन पर पहुंची दैनिक जागरण आई नेक्स्ट की टीम ने सच्चाई की पड़ताल की। टीम ने कैंपस में एंट्री प्वाइंट, वेटिंग हाल, प्लेटफॉर्म, ट्रेन, पैसेंजर्स, सर्कुलेटिंग एरिया सहित अन्य जगहों की पड़ताल की। आप यह जानकार आश्चर्य और चिंता में पड़ जाएंगे कि यहां खुले आम संक्रमण को न्योता दिया जा रहा है।

ट्रेन में बेखौफ दिखे पैसेंजर

कैंट स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर चार पर पहुंची लोकमान्य गोरखपुर स्पेशल ट्रेन में सवार पैसेंजर का टीम ने जायजा लिया। इस ट्रेन में सवार होने वाले और स्टेशन पर उतरने वालों में कोरोना को लेकर जरा सा भी खौफ नहीं दिखा। विभिन्न कोच में सवार लोग बिना मास्क लगाए और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन किए उतर और चढ़ रहे थे। वहीं सीट पर एक से एक सटकर बैठे लोग भी संक्रमण को दावत दे रहे थे।

लापरवाही प्लेटफॉर्म पर भी कम नहीं

वहीं मुंबई से आ रही ट्रेनों की पड़ताल करने स्टेशन पहुंची टीम ने पाया कि कोच ही नहीं प्लेटफॉर्म पर भी कोविड को लेकर कोई अलर्टनेस नहीं है। लोग जहां तहां मनमाने तरीके से बैठे हुए थे। न तो सोशल डिस्टेंसिंग और न ही फेस पर मास्क था। मुंबई से आयी ट्रेन के कोचों में जैसे हालात थे उससे भी बदतर प्लेटफॉर्म पर देखने को मिला। बच्चों से लेकर बुजुर्ग तक बेपरवाह अपने धुन में मस्त रहे। ट्रेन से उतरे और लोगों के बीच से होते हुए बाहर निकल गए।

मेन हॉल से भी बंट रहा संक्रमण

कैंट स्टेशन के मेन हॉल में जहां लॉकडाउन के बाद ट्रेन की शुरुआत के समय कोविड को लेकर जबरदस्त सतर्कता बरती जा रही थी, वहां की स्थिति आज बहुत चिंता में डालने वाली है। यहां लापरवाही की हद है। कहीं से भी आया व्यक्ति कहीं भी हॉल में बैठ जा रहा है तो उसको यहां आने जाने की भी छूट है। सच कहिए तो यहां कोरोना संक्रमण को लेकर कोई भी सजग नहीं दिखा। मुंबई से आए लोग हों या नई दिल्ली से। उन्हें इस हॉल में अन्य पैसेंजर से बिना डिस्टेंस के मिलते जुलते बाहर निकलते देखा गया। यहां अपनी ट्रेन का इंतजार करने वालों में भी अवेयरनेस नहीं देखा गया।

एंट्री प्वाइंट पर चेकिंग बीते दिनों की बात

लॉकडाउन व उसके बाद यहां विभिन्न शहरों से आने वाले पैसेंजर्स की बकायदा चेकिंग होती थी। एंट्री प्वाइंट पर ही एंटीजन रैपिड टेस्ट के अलावा थर्मल स्कैनिंग होने के बाद ही उन्हें घर जाने की इजाजत होती थी। लेकिन अब ऐसा कोई इंतजाम नहीं है। हालांकि लोगों की एंट्री को रोकने के लिए कई गेट को बंद कर दिया गया है। लेकिन मेन वेटिंग हॉल के जिस गेट को एंट्री के लिए खोला गया है वहां पर कोविड की गाईडलाइन को फॉलो नहीं किया जा रहा है। खासकर मुंबई से आने वाले पैसेंजर को लेकर। यहां पर ट्रेन से आने वाले किसी भी पैसेंजर की थर्मल स्क्रीनिंग नहीं की जा रही है। यहां तक कि लोग बिना मास्क के ही प्लेटफॉर्म से बाहर निकल जा रहे हैं। एंट्री प्वाइंट पर तैनात आरपीएफ के जवान भी ये जहमत नहीं उठा रहे हैं।

रेलवे की ओर से जारी गाईडलाइन का कैंट रेलवे स्टेशन पर पालन किया जा रहा है। शिकायत मिलने पर जांच करायी जाएगी। कोविड के लिए जो गाईडलाइन जारी होगी उसका कड़ाई से पालन होगा।

- आनंद मोहन, डायरेक्टर, कैंट स्टेशन

Posted By: Inextlive